2 हॉकी ओलिंपियन रचाएंगे शादी:DSP आकाशदीप की मोनिका से सगाई
भारतीय हॉकी की पुरुष और महिला टीम के 2 खिलाड़ी आकाशदीप सिंह और मोनिका मलिक शादी के बंधन में बंधने वाले हैं। दोनों की सगाई बुधवार को जालंधर में फगवाड़ा हाईवे पर स्थित एक निजी रिजॉर्ट में हई। दोनों प्लेयरों के परिवार जालंधर पहुंचे। बीत कल यानी मंगलवार को आकाशदीप के घर पर पाठ रखा गया था। दोनों की शादी 15 नवंबर को लांडरा सरहिंद हाईवे पर स्थित एक निजी रिजॉर्ट में होगी।
मोनिका मूल रूप से हरियाणा के सोनीपत जिला के गांव गामड़ी की रहने वाली हैं। वहीं आकाशदीप सिंह मूल रूप से खडूर साहिब के गांव वीरोवाल के रहने वाले हैं।आकाशदीप सिंह पंजाब पुलिस में बतौर डीएसपी तैनात हैं। इनकी नियुक्ति बीते साल पंजाब के सीएम भगवंत सिंह मान ने की थी। वहीं मोनिका मलिक भारतीय रेलवे में कार्यरत हैं। दोनों ओलिंपिक टीम का हिस्सा रह चुके हैं।
कौन हैं आकाशदीप
आकाशदीप सिंह का जन्म 2 दिसंबर 1994 को वेरोवाल गांव में हुआ था। उनके पिता सुरिंदर पाल सिंह पंजाब पुलिस में बतौर इंस्पेक्टर कार्यरत थे। जबकि उनके छोटे भाई प्रभदीप सिंह भी हॉकी खिलाड़ी हैं और वह अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व भी कर चुके हैं।
आकाशदीप सिंह शुरुआत में गुरु अंगद देव स्पोर्ट्स क्लब के लिए भी खेलते थे। जहां उनके खेलने की बेहतरीन स्किल को देखते हुए माता-पिता ने उन्हें 12 साल की उम्र में लुधियाना में स्थित पीएयू हॉकी अकादमी में दाखिला करा दिया।
इसके बाद आकाशदीप जालंधर के सुरजीत हॉकी अकादमी चले गए और वहां वो 4 साल तक रहे। इस दौरान उन्होंने खेल की हर बारिकियों को बखूबी से समझा और घरेलू व राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित प्रतियोगिताओं में शानदार प्रदर्शन करते हुए अपनी प्रतिभा दिखाई।
साल 2011 में आकाशदीप सिंह को भारतीय जूनियर हॉकी टीम का कप्तान बनाया गया। जहां उन्होंने 2011 में मलेशिया में आयोजित जूनियर एशिया कप में भारत को कांस्य पदक दिलाया।
2012 में सीनियर हॉकी टीम में डेब्यू
आकाशदीप सिंह ने एक साल बाद 2012 में चैंपियंस ट्रॉफी में भारत की सीनियर टीम में डेब्यू किया। जहां उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया। उन्हें गोल मशीन के रूप में जाना जाता है। आकाशदीप अब तक भारत के लिए 80 से ज्यादा गोल कर चुके हैं। आकाशदीप सिंह ने रियो 2016 ओलिंपिक में भारत के अटैक का नेतृत्व किया था।
कौन हैं मोनिका मलिक
मोनिका मलिक ने 2005 में हॉकी की प्रैक्टिस करनी शुरू की थी। साल 2007 में मोनिका ने डे-बोर्डिंग स्कीम के तहत एकेडमी जॉइन की थी। 2009 में चंडीगढ़ गर्ल्स टीम ने स्कूल नेशनल गेम्स में गोल्ड मेडल जीता। इस टीम में मोनिका मलिक ने भी अहम भूमिका निभाई थी।
2011 में मोनिका की मौजूदगी में चंडीगढ़ टीम ने जूनियर नेशनल में ब्रॉन्ज मेडल जीता था। 2012 में भी चंडीगढ़ टीम ने जूनियर नेशनल में सिल्वर मेडल जीता था। अपने शानदार प्रदर्शन के चलते मोनिका ने इंडिया की जूनियर टीम में जगह बनाई और 2014 में जर्मनी में आयोजित जूनियर वर्ल्ड कप में ब्रॉन्ज मेडल जीता था।
मोनिका ने इसके बाद हरियाणा की तरफ से खेलना शुरू किया। जिसका असर हरियाणा महिला टीम में देखने को मिला। टीम ने 2014 में सीनियर नेशनल टूर्नामेंट में सिल्वर मेडल जीता था। मोनिका टोक्यो ओलिंपिक में भी भारतीय टीम का हिस्सा थी। टीम पदक जीतने में सफल नहीं हो सकी, लेकिन प्रदर्शन की सबने तारीफ की थी।